क्या कैबिनेट से बाहर निकाले जाएंगे मंत्री प्रेमचंद्र अग्रवाल? इस वजह से अटकलों को मिला बल

उत्तराखंड मंत्रिमंडल से प्रेमचंद अग्रवाल को हटाए जाने की अटकलों ने उस समय और जोर पकड़ लिया जब भाजपा के मुख्य प्रवक्ता अनिल बलूनी ने विधानसभा में राज्य के पर्वतीय क्षेत्रों के लोगों के खिलाफ मंत्री के हालिया बयान को ”दुखद और दुर्भाग्यपूर्ण” बताया।
बलूनी पौड़ी गढ़वाल से भाजपा सांसद भी हैं।
बलूनी ने शुक्रवार को कोटद्वार में एक कार्यक्रम से इतर संवाददाताओं से कहा, ‘‘पूरा मामला बहुत ही दुखद और दुर्भाग्यपूर्ण रहा है। मैं पार्टी का मुख्य प्रवक्ता हूं और मुझे मर्यादा बनाये रखनी है। लेकिन मैंने उचित मंचों पर इस मामले को मजबूती से उठाकर अपना कर्तव्य निभाया है.’’ पिछले महीने के अंत में सदन के बजट सत्र के दौरान अग्रवाल की टिप्पणी से लोगों, विशेषकर राज्य के पहाड़ी क्षेत्रों के लोग, आक्रोशित हो उठे थे।
इस टिप्पणी के कारण विरोध प्रदर्शन भी हुए और उनके पुतले भी जलाए गए. बजट सत्र के दौरान अग्रवाल ने कांग्रेस विधायक मदन बिष्ट द्वारा उन पर की गई टिप्पणी पर नाराजगी जताते हुए कहा कि उन्होंने उत्तराखंड के राज्य के दर्जे की लड़ाई यह देखने के लिए नहीं लड़ी थी कि एक दिन ‘पहाड़ी’ और ‘देसी’ के बीच विभाजन पैदा हो जाएगा।
माफी मांग चुके हैं कैबिनेट मंत्री
मंत्री प्रेमचंद्र अग्रवाल ने विपक्षी विधायकों के साथ बहस के दौरान आपत्तिजनक शब्द भी कहे थे. वैसे मंत्री पहले ही अपनी टिप्पणी को लेकर माफी मांग चुके हैं और प्रदेश भाजपा नेतृत्व उन्हें तलब कर संयम बरतने का निर्देश दे चुका है। उत्तराखंड सरकार में अग्रवाल के पास वित्त एवं संसदीय कार्य जैसे अहम विभाग हैं। बता दें कि राज्य में उनके इस बयान पर सियासी बवाल मचा हुआ है।
कांग्रेस नेता कई जगहों पर उनके इस बयान का लगातार विरोध कर रहे हैं। हालांकि उन्हें हटाया जाएगा या नहीं, अभी तक यह आधिकारिक तौर पर यह स्पष्ट नहीं हो पाया है. लेकिन उन्हें हटाए जाने को लेकर तमाम तरह की अटकलें चल रही है।
