उत्तराखण्डकुमाऊं,

हल्द्वानी- यहां छात्र सवालों के जवाब की बजाय शायरी लिख रहे हैं उत्तर पुस्तिकाओं में, फिर भी मूल्यांकन में गड़बड़ी का लगा रहे आरोप

हल्द्वानी एमबीपीजी कॉलेज इन दिनों चर्चाओं में हैं। एक ओर छात्र गलत मूल्यांकन करने का आरोप लगा रहे हैं। वहीं दूसरी ओर ऐसे भी कई छात्र हैं जिन्होंने उत्तर पुस्तिकाओं में दर्द भरी शेरो शायरी लिखी है। प्राध्यापकों का कहना है कि अगर उत्तर पुस्तिकाओं में प्रश्न का उत्तर न लिखकर शायरी लिखी है तो उन्हें कैसे पास किया जाए।

 

पिछले दिनों गलत मूल्यांकन की शिकायत आने के बाद जब एमबीपीजी कॉलेज में उत्तर पुस्तिकाओं की दोबारा जांच की गई तो पता चला कि कई छात्र- छात्राएं ऐसे हैं जिन्होंने उत्तर पुस्तिकाओं में शेरो शायरी लिखी थी। अभी भी छात्र गलत मूल्यांकन की बात कर रहे हैं। बृहस्पतिवार को कॉलेज में प्राचार्य कक्ष में हंगामे के बाद जैसे ही माहौल शांत हुआ तो एक प्राध्यापक उत्तर पुस्तिका की फोटो प्राचार्य को बताने लगे कई छात्र-छात्राओं ने उत्तर पुस्तिका में शेर और शायरी लिखी हैं। इस दौरान उन्होंने प्राचार्य को एक छात्र की ओर से लिखी हुई शायरी सुनाते कहा कि हमें भी दर्द में हमें भी मुस्कराने की आदत है, मासूम है ये दिल फिर भी मचलता रहता है सहित कई अन्य शेर लिखे गए थे।

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शेर शायरी सुनकर हंसने से नहीं रोक पाए प्राध्यापक
प्राचार्य कक्ष में हंगामा शांत होने के बाद वहां प्राध्यापक गंभीर मुद्रा में बैठे थे। जब एक प्राध्यापक ने एक छात्र की ओर से उत्तर पुस्तिका में लिखी गई शेर और शायरी सुनानी शुरू की तो अन्य गुरुजी भी अपनी हंसी नहीं रोक सके और माहौल खुशनुमा हो गया। कई प्राध्यापक बोले, जितनी शुद्ध हिंदी में शेर शायरी लिखी हैं अगर ऐसे ही अन्य विषयों पर शुद्ध हिंदी लिखी होती तो उन्हें अच्छे नंबर मिल जाते।

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कई छात्र-छात्राओं ने उत्तर पुस्तिका में शेर और शायरी लिखी हैं। ऐसे छात्रों को प्राध्यापक कैसे नंबर देंगे। प्राध्यापक इस तरह की शिकायत लेकर उनके पास पहुंच रहे हैं।
– डॉ. एनएस बनकोटी, प्राचार्य एमबीपीजी कॉलेज

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